चंद खिलाड़ियों के जज्बे से, आज शान-ए-वतन कायम है 'उदय'
वर्ना, सिंहासन प्रेमियों के इरादे, .......... तो हैं माशा-अल्लाह ?
...
'उदय' अब हम कैसे समझाएं इन्हें, कि वे कोई बात सुनेंगे नहीं
क्योंकि - उन्हें बगैर लातों के, कोई बात समझ में नहीं आती ?
...
अहिंसा का मान, फिरंगी समझते थे 'उदय'
पर, आज के लोग, हिंसा ही समझते हैं ??
...
उन्हें तो हर हाल में, है फटेहाली से मतलब
फटेहाली देश की, उनके लिए वरदान जो है ?
4 comments:
आपकी इस उत्कृष्ट प्रविष्टि की चर्चा कल मंगल वार १४/८/१२ को चर्चाकारा राजेश कुमारी द्वारा चर्चामंच पर की जायेगी आपका स्वागत है|
Gambheer vyangya.
............
कितनी बदल रही है हिन्दी !
शान वतन की कायम है..
उन्हें तो हर हाल में, है फटेहाली से मतलब
फटेहाली देश की, उनके लिए वरदान जो है ?
वाकई में वरदान है उसके लिये फटेहाली
बहुत खूब कहा है !
Post a Comment