Wednesday, October 10, 2012

लल्लो-चप्पो ...

गुनाह करके 'उदय', उन्ने ... हमसे सबूत मांगे हैं 
अब हम  क्या कहें, वैसे .... फैसले भी उनके हैं ?
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उनकी बला, उन्ने अपने सिर पे ले ली 'उदय' 
अब 'खुदा' ही जाने, ... उनका हश्र क्या होगा ? 
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ए दोस्त, तुम कितने सच्चे, कितने झूठे हो, ये तो तुम ही जाने हो 
पर, गर ये मजाक है, तो भी  .......................... तुम्हें सलाम !
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ऊँचाईयों का खौफ, ये ... किसे दिखा रहे हैं 'उदय' 
हम परिंदे हैं, आसमानों में ही है, बसेरा अपना ? 
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लल्लो-चप्पो के हुनर से, वे सत्ता के सरताज हैं 'उदय' 
वर्ना, उनकी काबलियत ... चपरासी से ज्यादा नहीं है ?